संसद में नए मंत्रियों के परिचय के दौरान हुआ विपक्ष का हंगामा, PM बोले, कुछ लोगो को रास नहीं शांति का माहौल

संसद के मानसून सत्र के पहले दिन लोकसभा में हंगामे के कारण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी मंत्रिपरिषद में शामिल नए मंत्रियों का सदन में औपचारिक रूप से परिचय नहीं करा पाए और उन्हें मंत्रियों के परिचय के दस्तावेज सदन के पटल पर रखने पड़े।

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लखनऊ / दिल्ली । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से लोकसभा में मंत्रिपरिषद के नये सदस्यों का परिचय कराने के दौरान सोमवार को विपक्षी सदस्यों ने हंगामा किया जिसके बाद प्रधानमंत्री ने कांग्रेस समेत कुछ अन्य विपक्षी दलों को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि कुछ लोगों को यह रास नहीं आ रहा है कि दलित, आदिवासी, ओबीसी(OBC) और महिला मंत्रियों का यहां परिचय कराया जाए।

पीएम नरेंद्र मोदी ने मॉनसून सेशन में अपने नए मंत्रियों का परिचय कराते हुए विपक्ष पर तंज कसा। विपक्षी सांसदों के हंगामे को लेकर पीएम मोदी ने कहा कि आज बड़ी संख्या में महिलाएं, दलित और आदिवासी नेता मंत्री बने हैं। बड़ी संख्या में किसान और ग्रामीण परिवारों से आने वाले लोगों को भी मंत्री बनने का मौका मिला है। इस पर सभी को खुशी होनी चाहिए थी। उनका मेज थपथपाकर स्वागत करना चाहिए था। लेकिन कुछ लोगों को दलितों, महिलाओं और पिछड़ों का मंत्री बनना रास नहीं आता है। इसलिए वे उनका परिचय नहीं कराने दे रहे हैं।

लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने विपक्षी सदस्यों से शांत होने और मंत्रियों का परिचय होने देने की अपील की। उन्होंने कहा, ‘परंपराओं को न तोड़ें। आप लंबे समय तक शासन में रहे हैं। आप परंपरा को तोड़कर सदन की गरिमा को कम नहीं करें। इस सदन की गरिमा को बनाए रखें…प्रधानमंत्री जी सदन के नेता हैं और फेरबदल के बाद मंत्रिपरिषद का परिचय करा रहे हैं। आप सदन की गरिमा को बनाए रखें।

संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने भी हंगामा कर रहे विपक्षी सदस्यों से शांति से नये मंत्रियों का परिचय होने देने की अपील की। सदन में कांग्रेस समेत कुछ विपक्षी दलों के सदस्यों की नारेबाजी के बीच प्रधानमंत्री ने उन पर निशाना साधते हुए कहा कि, मैं सोच रहा था कि आज सदन में उत्साह का वातावरण होगा क्योंकि बहुत बड़ी संख्या में हमारी महिला सांसद, दलित भाई, ​आदिवासी, किसान परिवार से सांसदों को मंत्री परिषद में मौका मिला। उनका परिचय करने का आनंद होता लेकिन शायद देश के दलित, महिला, ओबीसी,​ किसानों के बेटे मंत्री बनें ये बात कुछ लोगों को रास नहीं आती है। इसलिए उनका परिचय तक नहीं होने देते।’

बता दें कि विपक्ष जासूसी कांड, महंगाई और तीन कृषि कानूनों को वापस लिए जाने की मांग को लेकर तथा अन्य मुद्दों को लेकर हंगामा मचा रहे थे इसी दौरान पीएम मोदी अपने नव-नियुक्त मंत्रियों का परिचय दे रहे थे। हालांकि, विपक्ष ने इतना हंगामा किया कि पीएम मोदी बीच में ही रुक गए और उन्होंने विपक्ष पर निशाना साधते हुए यह कहा कि  विपक्षी पार्टियां दलितों, महिलाओं और पिछड़ों को मंत्री नहीं देखना चाहतीं।

संसदीय कार्य मंत्री प्रह्लाद जोशी ने भी हंगामा कर रहे विपक्षी सदस्यों से शांति से नये मंत्रियों का परिचय होने देने की अपील की। सदन में कांग्रेस समेत कुछ विपक्षी दलों के सदस्यों की नारेबाजी के बीच प्रधानमंत्री ने उन पर निशाना साधते हुए कहा, ‘मैं सोच रहा था कि सदन में एक उत्साह का वातावरण होगा क्योंकि बड़ी संख्या में हमारी महिला सांसद मंत्री बनी हैं…आज खुशी का माहौल होगा कि आदिवासी साथी बड़ी संख्या में मंत्री बने हैं।

उन्होंने कहा कि किसान परिवार और ग्रामीण परिवेश से आने वाले, सामाजिक और आर्थिक रूप से पिछड़े समाज से आने वालों को बड़ी संख्या में मंत्रिपरिषद में स्थान मिला है, उनके परिचय में खुशी होनी चाहिए थी ।इसके बाद बिरला ने कहा कि प्रधानमंत्री सदन के पटल पर मंत्रियों के परिचय की सूची रख सकते हैं। इसके बाद प्रधानमंत्री ने कहा, ‘मैं पटल पर रखता हूं।’ गौरतलब है कि गत सात जुलाई को नरेंद्र मोदी सरकार के दूसरे कार्यकाल का पहला मंत्रिपरिषद विस्तार हुआ था जिसके तहत 43 मंत्रियों को शपथ दिलाई गई। इनमें 15 कैबिनेट और 28 राज्य मंत्री हैं।

संसद के मानसून सत्र के पहले दिन लोकसभा में हंगामे के कारण प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपनी मंत्रिपरिषद में शामिल नए मंत्रियों का सदन में औपचारिक रूप से परिचय नहीं करा पाए और उन्हें मंत्रियों के परिचय के दस्तावेज सदन के पटल पर रखने पड़े। सदन में 11 कार्यवाही शुरू होते ही सबसे पहले राष्ट्रगान हुआ और फिर नए नवनिर्वाचित सदस्यों को शपथ दिलाई गई। इसके पश्चात अध्यक्ष ओम बिरला ने नए मंत्रियों का सदन से परिचय कराने के लिए प्रधानमंत्री को पुकारा। लेकिन विपक्षी सदस्यों ने हंगामा शुरू कर दिया।

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